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सरकार ने अभी तक प्रदेश में 62 लाख लोगों का आयुष्मान भारत हेल्थ अकाउंट यानी आभा आईडी बनाई जा चुकी है। स्वास्थ्य विभाग की मानें तो आयुष्मान योजना के तहत कार्ड उपलब्ध कराने और शत प्रतिशत लोगों की आभा यानी आयुष्मान भारत स्वास्थ्य खाता बनाने का लक्ष्य रखा है।

जिसके तहत राज्य सरकार ने 5 साल से ज्यादा उम्र के सभी लोगों का आयुष्मान कार्ड बनाने का निर्णय लिया है। राज्य सरकार आयुष्मान भव अभियान के तहत प्रदेश में आयुष्मान कार्ड और शत प्रतिशत आभा आईडी बनाने के कार्य में तेजी ला रही है।

साल से ज्यादा उम्र के सभी लोगों का आयुष्मान कार्ड बनाने का निर्णय लिया है। इसके लिए सरकार ने प्रदेश में 5 साल से ज्यादा उम्र के सभी लोगों का मार्च 2024 से पहले आयुष्मान कार्ड बनाने का लक्ष्य रखा है।

बता दें कि रोजाना सैकड़ों मरीज आयुष्मान योजना का लाभ ले रहे हैं. इस योजना के तहत पांच लाख रुपये तक का इलाज बिल्कुल मुफ्त है। आयुष्मान कार्ड केवल सरकारी ही नहीं बल्कि कई प्राइवेट अस्पतालों में भी मान्य है।

बताया जा रहा है कि आयुष्मान कार्ड में 59 जांचें मुफ्त कराई जाती हैं, जिसमें ब्लड टेस्ट, अल्ट्रासाउंड, एक्स-रे से लेकर सभी महत्वपूर्ण जांचें मुफ्त होती है। आयुष्मान कार्ड के जरिये मलेरिया बुखार , HIV ,बच्चेदानी की सर्जरी , मोतिया बिंद, हर्निया, पाईल्स, ह्रदय रोग और TV जैसी बीमारी का इलाज ये सब इलाज मुफ्त में किए जाते हैं।

अभी तक प्रदेश में 62 लाख लोगों का आयुष्मान भारत हेल्थ अकाउंट यानी आभा आईडी बनाई जा चुकी है। स्वास्थ्य विभाग की मानें तो आयुष्मान योजना के तहत अभी तक उत्तराखंड में करीब 9 लाख 11 हजार मरीज का इलाज किया जा चुका है।

हालांकि, इस इलाज पर राज्य सरकार ने करीब 1,720 करोड़ रुपए खर्च किए हैं। वहीं, राज्य सरकार आयुष्मान भव अभियान के तहत प्रदेश में आयुष्मान कार्ड और शत प्रतिशत आभा आईडी बनाने के कार्य में तेजी ला रही है।

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