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पूर्व निदेशक पर लगे भ्रष्टाचार के आरोपो की होगी जांच, 3 सदस्यीय टीम हुई गठित

जीबी पंत अभियांत्रिकी एवं प्रौद्योगिकी संस्थान घुड़दौड़ी के पूर्व निदेशक प्रो. वाई सिंह पर लगे भ्रष्टाचार के आरोपो की जांच होगी। इसके लिए तीन सदस्यीय जांच टीम गठित हो गई है। जो एक माह के भीतर रिपोर्ट देगी।

संस्थान की बीओजी (बोर्ड ऑफ गर्वनेंस) की बैठक में इलेक्ट्रॉनिक्स एंड कम्युनिकेशन इंजीनियरिंग विभाग के पूर्व एचओडी डा. एके गौतम व सिविल इंजीनियरिंग विभाग में सेवारत असिस्टेंट प्रोफेसर डा. सरीश चंद्रवंशी पर मुकदमा चलाए जाने को अनुमति दे दी है। हालांकि दोनों मामलों में कोतवाली पौड़ी में पहले ही मुकदमा दर्ज है।

शुक्रवार को संस्थान की बीओजी बैठक संपन्न हुई। बीओजी की अध्यक्षता प्रदेश के तकनीकी शिक्षा मंत्री व बीओजी अध्यक्ष सुबोध उनियल ने की। संस्थान के निदेशक व बीओजी के सदस्य सचिव प्रो. वीएन काला ने बताया कि संस्थान के पूर्व निदेशक प्रो. वाई सिंह पर वर्ष 2016 में निदेशक के पद पर रहते हुए नियुक्तियों व खरीदारी में भ्रष्टाचार किए जाने सहित अन्य आरोप लगे थे। जिस पर बीओजी में तीन सदस्यी जांच समिति गठित किए जाने का निर्णय लिया गया। समिति को एक माह के भीतर जांच रिपोर्ट देनी होगी।

उन्होंने बताया कि संस्थान में इलेक्ट्रॉनिक्स एंड कम्युनिकेशन इंजीनियरिंग विभाग के पूर्व एचओडी डा. एके गौतम पर विभाग में सेवारत रही दिवंगत असिस्टेंट प्रोफेसर मनीषा भट्ट के आत्महत्या मामले में मुकदमा दर्ज और एक शोध छात्रा को संस्थान में सेवारत असिस्टेंट प्रोफेसर की ईमेल से अभद्र संदेश भेजने के मामले में कोतवाली पौड़ी में सिविल इंजीनियरिंग विभाग में सेवारत असिस्टेंट प्रोफेसर डा. सरीश चंद्रवंशी पर दर्ज मुकदमा चलाए जाने को पुलिस द्वारा मांगी गई अनुमति दे दी है। 

बताया कि दिवंगत असिस्टेंट प्रोफेसर मनीषा के पति डा. संदीप भट्ट की नियुक्ति वर्ष 2019 में संस्थान के एप्लाइड साइंस विभाग में गणित में असिस्टेंट प्रोफेसर के पद पर हुई थी। जिसे एक अभ्यर्थी ने उच्च न्यायालय में चुनौती दी थी। न्यायालय ने तत्काल नियुक्ति निरस्त किए जाने का आदेश संस्थान को दिया था।

जिन्हें तत्काल प्रभाव से पद से हटा दिया गया था, लेकिन अब याचिकाकर्ता ने मानवीय आधार पर न्यायालय में वाद को वापस ले लिया है। जिसके बाद उच्च न्यायालय ने मामले में डा. संदीप भट्ट को दोबारा नियुक्ति दिए जाने का आदेश दिया है। 

उन्होंने बताया कि संस्थान प्रशासन ने मामले में न्यायालय के आदेशानुसार डा. भट्ट को नियुक्ति दे दी है। बीओजी ने उनकी नियुक्ति को भी अनुमोदित कर दिया है।

इस अवसर पर संस्थान की बीओजी के उपाध्यक्ष व सचिव तकनीकी शिक्षा रविनाथ रमन, तकनी विवि के कुलपति डा. ओमकार सिंह, सदस्य पंकज गुप्ता, विजय कुमार, आरपी गुप्ता आदि मौजूद रहे।

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