उत्तराखंड में जल्द ही त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव होने जा रहे हैं इसको लेकर चुनाव की तारीखों का ऐलान भी हो चुका है लेकिन इस बार चुनाव में क्या नया होने वाला है ।
आपको बताएंगे इस बार चुनाव में नए बदलाव देखने को मिलेंगे पहली बार चुनाव के नतीजे ऑनलाइन जारी करने का फैसला लिया गया है।
बता दें कि त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव में इस बार राज्य निर्वाचन आयोग ने पिछले चुनाव के मुकाबले के बदलाव किए हैं सभी बदलाव धरातल पर नजर आएंगे आयोग ने जहां इस बार खर्च की सीमा बढ़ाई है तो इसकी निगरानी भी सख्त करने का फैसला किया गया है।
इस बार राज्य निर्वाचन आयोग ने पहली बार वोटर लिस्ट ऑनलाइन जारी की है अगर आप भी चाहते हैं अपनी वोटर लिस्ट में अपना नाम जानना तो इसके लिए https://secresult.uk.gov.in/votersearch/sea rchvotermapping इस वेबसाइट पर आप अपना नाम अपनी वोटर लिस्ट में चेक कर सकते हैं साथ ही यहां से आप वोटर लिस्ट को डाउनलोड भी कर सकते हैं।
प्रत्याशियों के लिए बढ़ाई खर्च की राशि
वही इस बार निर्वाचन आयोग ने चुनाव में प्रत्याशियों के लिए खर्च की राशि को बढ़ा दिया है. ग्राम प्रधान के लिए पहले जहां खर्च की सीमा 50000 थी अब उसे बड़ा कर 75000 कर दिया गया है, सदस्य ग्राम पंचायत के लिए पहले कोई खर्च की सीमा नहीं थी और उसके लिए कुछ खर्च भी नहीं किया जाता था लेकिन अब इसे ₹10000 की धनराशि खर्च करने की इजाजत दी गई है।
वही बीडीसी मेंबर के लिए खर्च की सीमा 50000 थी जिसे बड़ा कर 75000 कर दिया गया है वही सदस्य जिला पंचायत की खर्च की सीमा 140000 थी जिसे बड़ा कर 2 लाख कर दिया गया है।
उप प्रधान के लिए 15 000 खर्च करने की इजाजत दी गई है कनिष्ठ उप प्रमुख के लिए 50000 की जगह 75000 का प्रावधान किया गया है प्रमुख क्षेत्र पंचायत के लिए 140000 की धनराशि को बढ़ाकर 2 लाख कर दिया गया है।
उपाध्यक्ष जिला पंचायत के लिए ₹250000 की धनराशि के जगह 300 खर्च की इजाजत दी गई है जिला पंचायत अध्यक्ष के लिए 350000 की धनराशि को बढ़ाकर 4 लाख किया गया है, राज्य निर्वाचन आयोग ने इस बार खर्च की निगरानी भी बढ़ा दी है हर जिले में इसकी अंग्रेजी के लिए अलग से एक अधिकारी को तैनात किया गया है जैन सभी खर्चों का लेखा-जोखा अपने पास रखेगी।
सॉफ्टवेयर के माध्यम से कर्मियों की तैनाती
इस बार प्रदेश में होने जा रहे पंचायत चुनाव में 95909 अधिकारी कर्मचारी दिनांक किए जाएंगे इसमें मतदान स्थल पर पीठासीन अधिकारी 11849 मतदान अधिकारी 47910 सेक्टर मजिस्ट्रेट जोनल मजिस्ट्रेट नोडल अधिकारी प्रभारी अधिकारी 450 और सुरक्षाकर्मी 35700 है ।
आयोग ने पहली बार तय किया है कि मतदान और मतगणना कर्मियों की तैनाती सॉफ्टवेयर के माध्यम से रेड माइजेशन प्रणाली से की जाएगी इससे सभी अधिकारियों कर्मचारियों को प्रदर्शित तरीके से चुनाव में लगाया जा सकेगा ।
कई बार चुनाव की ड्युटियों को लेकर के सिफारिश और शिकायतें सुनने में आती रहती है इस प्रणाली के बाद किसी भी प्रकार की कोई गुंजाइश नहीं बचेगी।
राज्य निर्वाचन आयोग ने मतदाता कर्मियों की सुरक्षा पर भी खास फोकस किया है इसके तहत अगर किसी भी कारण किसी मतदान कर्मी की चुनाव ड्यूटी के दौरान मृत्यु हो जाती है तो उसके परिजनों को 10 लख रुपए का मुआवजा मिलेगा ।
आयोग के सचिव राहुल गोयल ने एबीपी लाइव से बात करते हुए बताया कि शासन ने इस प्रस्ताव को हर झंडी दे दी है सोमवार को इस संबंध में सभी अधिकारियों से तथा सभी जिलों के जिलाधिकारी को पत्र भेज दिया जाएगा।
पहली बार ऑनलाइन देख पाएंगे चुनाव परिणाम
राज्य निर्वाचन आयोग ने पहली बार चुनाव के नतीजे को ऑनलाइन जारी करने का भी फैसला लिया है राज्य निर्वाचन आयोग को सुशील कुमार ने एबीपी लाइव से बात करते हुए बताया कि इस बार जी ग्राम पंचायत जिस क्षेत्र पंचायत जिला पंचायत के नतीजे आते जाएंगे ।
वह सभी आयोग की वेबसाइट पर अपडेट होते जाएंगे उन्होंने बताया कि निकाय चुनाव के बाद पंचायत में यह सुविधा दी जाएगी विभाग की वेबसाइट https://sec.uk.gov.in पर नतीजा आसानी से देखे जा सकेंगे।

